बिन पानी सब सून और जब पानी करदे सब सून
पानी ही पानी |
मशहूर दोहा है की
" रहिमन पानी रखिये बिन पानी सब सून "
पर इस इस हुआ है की पानी ही पानी है और पानी ने सब सूना कर दिया लोग बेघर हुए हजारो बर्बादहर जगह सिर्फ पानी ही पानी। और इतना पानी होने के बाद भी पीने के पानी लोग। सच है
"अति सर्वत्र वर्जयेत "
जब पानी न हो तो पानी ना होने का रोना और जब पानी अपने विशाल रूप में दर्शन दे तो पानी बंद होने की दुआए मांगते लोग। पर सच इस बार जितना पानी देखा उतना पहले कभी नहीं देखा हमारे शहर में भी सभी तालाब नदी नाले उफान पे है दुसरे शेहरो से संपर्क कट गया है। दूध सब्जी और पीने का पानी सबकी किल्लत हो गई है सारे रास्ते पानी में डूबे है और बड़ो के साथ बच्चे भी परेशान है क्यूंकि वो भी खेल नहीं पा रहे है जो पहले स्कूल बंद होने की ख़ुशी मना रहे थे अब दोस्तों की याद करके रो रहे है और तो और ईद की रोनक को भी पानी ने फीका कर दिया क्यूंकि लगातार बरसते पानी की वजह से कोई किसी से मिल ही नहिपाया सब सारे दिन अपने घरो में पानी बंद होने का इंतज़ार कर रहे थे पर पानी ने तो जैसे बंद ना होने की कसम ही खाई थी बाज़ार की रोनक भी कम रही। लोग नए कपडे खरीदने से ज्यादा घरो की सीलन और छतो से टपकने वाले पानी को रोकने का सामान खरीदने में बिजी थे। अब १५ अगस्त आ रहा है हम दुआ करते है की हम पूरे जोश और जूनून से स्वंत्रता दिवस मना पाएंगे। आमीन
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें